गुमनाम जो हो गए धरती से...
अपनी खुशियों को बेच दिया,
भारत की भूमि सींच दिया,
इतिहास का पन्ना भूल गया,
वो वीर बड़े मतवाले थे,
गुमनाम जो हो गए धरती से,
वे धरती के रखवाले थे।
ना नाम कमाना था उनको,
सम्मान ना पाना था उनको,
बस मन में सेवा भाव जगा,
वे देश बचाने आए थे,
गुमनाम जो हो गए धरती से,
वे धरती के रखवाले थे।
कुर्बानी उनकी भूल गए,
जो तख्ते पे थे झूल गए,
इतिहास भी उनको भूल गया,
जो भारत बनाने वाले थे,
गुमनाम जो हो गए धरती से,
वे धरती के रखवाले थे।
उनको भी यादों में लाओ,
इतिहास में उनको छपवाओ,
जिन्हे मात्रभूमि की परवाह थी,
जो देश पे मरने वाले थे,
गुमनाम जो हो गए धरती से,
वे धरती के रखवाले थे।
- आदित्य कुमार
(बाल कवि)